मेष का मासिक राशिफल / Mesh Masik Rashifal in Hindi
September, 2024
सामान्य
यह महीना मेष राशि के जातकों के लिए कुछ सावधानियां रखने वाला महीना होगा। वैसे तो आपको आर्थिक लाभ प्राप्त होंगे और आपकी आमदनी बढ़ेगी क्योंकि पूरे महीने वक्री अवस्था में शनि महाराज अपनी ही राशि कुंभ में आपके एकादश भाव में विराजमान रहेंगे और आपकी आमदनी को निरंतर बढ़ाते रहेंगे। आपके पास एक से अधिक माध्यमों से धन प्राप्ति के योग बनेंगे। सूर्य महाराज भी महीने की शुरुआत में पंचम भाव में बैठकर आपके एकादश भाव को देखेंगे जिससे आमदनी से जुड़ी समस्याओं में कमी आएगी और आपको आर्थिक लाभ प्राप्त होंगे। नौकरी करने वाले जातकों को कठिन प्रयास और कठिन मेहनत करने से गुजरना होगा। इसके लिए आपको तैयार रहना होगा। व्यापार करने वाले जातकों के लिए महीने की शुरुआत कुछ कमजोर रहेगी क्योंकि सप्तम भाव के स्वामी शुक्र महाराज भी छठे भाव में राहु और केतु के प्रभाव में रहेंगे और उन पर मंगल महाराज तथा बृहस्पति देव की दृष्टि भी होगी लेकिन 18 सितंबर से शुक्र अपनी ही राशि तुला में आपके सप्तम भाव में प्रवेश कर जाएंगे जिससे व्यापार से जुड़ी समस्याओं में कमी आएगी। विद्यार्थियों के लिए यह महीना अनुकूल रहेगा। पंचम भाव के स्वामी पंचम भाव में विराजमान रहकर आपको मजबूत दिशा दिखाएंगे और आप अपनी शिक्षा में कठिन मेहनत से आगे बढ़कर सफलता प्राप्त कर पाएंगे। प्रेम संबंधों में कुछ उतार-चढ़ाव हो सकता है, फिर भी आप अपने प्रियतम को खुश रखने की हर संभव कोशिश करेंगे। वैवाहिक जीवन में महीने का पूर्वार्ध कुछ कमजोर रहेगा लेकिन उत्तरार्ध में खुशियां आने लगेंगी। पारिवारिक जीवन सामान्य रहेगा और स्वास्थ्य पर भी ध्यान देने की आवश्यकता पड़ेगी।
कार्यक्षेत्र
करियर के दृष्टिकोण से यह महीना आपके लिए महत्वपूर्ण साबित हो सकता है, फिर भी आपको एक बात के लिए तैयार रहना होगा, दशम भाव के स्वामी शनि महाराज वक्री अवस्था में एकादश भाव में विराजमान हैं और उन पर सूर्य देव की पंचम भाव से पूर्ण दृष्टि रहेगी। इसके परिणाम स्वरुप आपको अपने कार्यक्षेत्र में कठिन चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है और कठिन मेहनत भी करनी पड़ेगी। यह समय बहुत ज्यादा मेहनत का होगा इसलिए आपको डटकर मेहनत करनी है, तभी आप समस्याओं से बाहर निकल पाएंगे। हालांकि 16 सितंबर से सूर्य महाराज कन्या राशि में आपके छठे भाव में चले जाएंगे और तब आपकी नौकरी के लिए और भी अच्छे योग बनने शुरू हो जाएंगे, फिर भी महीने के पूर्वाद्ध में सूर्य महाराज शनि से और उत्तरार्ध में राहु के प्रभाव से कुछ हद तक पीड़ित भी हो सकते हैं इसलिए कार्यक्षेत्र में सावधानी रखनी अपेक्षित होगी। किसी के भी कहे सुनने में ना आएं और अपनी तरफ से किसी के भी बारे में ज्यादा बोलने से बचें।कार्यक्षेत्र में सहकर्मियों का व्यवहार आपके लिए मिला जुला रहेगा। कुछ आपकी मदद करेंगे तो कुछ आपकी जड़ें खोदने का काम करेंगे इसलिए थोड़ी सावधानी रखकर आप इन समस्याओं से बच सकते हैं। यदि आप कोई व्यापार करते हैं तो महीने का पूर्वार्ध कुछ कमजोर रह सकता है। सप्तम भाव के स्वामी शुक्र महाराज छठे भाव में अपनी नीच राशि कन्या में विराजमान रहेंगे। उनके ऊपर मंगल और बृहस्पति की दृष्टि होगी तथा वह केतु के साथ विराजमान होकर पीड़ित अवस्था में होंगे इसलिए व्यापार में उतार-चढ़ाव की स्थितियां बनेंगी। आपकी योजनाओं को फलीभूत होने में समय लगेगा और उनमें कुछ रुकावटें आ सकती हैं। आपके कुछ विरोधी भी सर उठा सकते हैं इसलिए आपको सावधानी रखनी चाहिए। इस दौरान व्यावसायिक निवेश करने की सोच विकसित होगी जिसको ध्यान देकर आगे बढ़ना चाहिए। महीने के उत्तरार्द्ध में 18 सितंबर से शुक्र तुला राशि में आपके सप्तम भाव में आएंगे और पूरे महीने यहीं बने रहेंगे। इससे व्यापार में उन्नति होगी और कुछ नई योजनाएं शुरू होंगी। पुरानी योजनाओं पर जो विराम लगा हुआ था, वह भी अब दूर होगा और वे भी फिर से चालू हो जाएंगी। इससे आपके व्यवसाय में गति आएगी और आप उन्नति करेंगे।
आर्थिक
यदि आपकी आर्थिक स्थिति को देखा जाए तो यह महीना आर्थिक रूप से आपको खुशियां तो देगा क्योंकि वक्री शनि महाराज अपनी ही राशि कुंभ में एकादश भाव में पूरे महीने विराजमान रहेंगे जो आपको धन प्राप्ति के लिए दौड़ाते रहेंगे लेकिन इससे आपकी आमदनी में भी निरंतरता बनी रहेगी। आपकी दैनिक आमदनी भी अच्छी रहेगी और आमदनी में कोई कमी नहीं आएगी। पंचम भाव में बैठे सूर्य महाराज भी अपनी राशि में रहेंगे और आपको आर्थिक लाभ प्रदान करेंगे। सरकारी क्षेत्र से भी आपको लाभ प्राप्त हो सकता है। यह समय आपकी आर्थिक उन्नति को बढ़ाने वाला होगा लेकिन द्वादश भाव में पूरे महीने राहु की उपस्थिति होना आपके खर्चों का भी योग लगातार बनाए रखेगा। ऊपर से शुक्र भी महीने के पूर्वार्ध` में छठे भाव में ही होंगे जिससे खर्च भी लगातार बने रहेंगे। महीने के उत्तरार्ध में 16 सितंबर को सूर्य और 23 सितंबर को बुध के बीच छठे भाव में आकर द्वादश भाव को देखने से आपके खर्चों में तेजी और आने की संभावना बनेगी इसलिए आपकी आमदनी तो भले ही बेहतर हो लेकिन खर्च बहुत तेज गति से बढ़ेंगे, जिन पर नियंत्रण रखना आपके लिए बहुत आवश्यक होगा, अन्यथा आर्थिक चुनौतियां आपको परेशान कर सकती हैं।
स्वास्थ्य
यह महीना स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से थोड़ा कमजोर रहने की संभावना दिखाई दे रही है। राशि स्वामी मंगल तो तीसरे भाव में रहकर आपको भरपूर साहस और पराक्रम प्रदान करेंगे और आपकी स्वास्थ्य समस्याओं में कमी प्रदान करेंगे लेकिन दूसरे और सातवें भाव के स्वामी शुक्र महाराज छठे भाव में अपनी नीच राशि कन्या में केतु के साथ विराजमान रहेंगे और उन पर मंगल और बृहस्पति की दृष्टि होगी जिससे आपको पेट से संबंधित समस्याएं और जिन जातकों को मधुमेह की समस्या है, उन्हें ज्यादा परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। अपने स्वास्थ्य और अपने खान-पान पर बराबर ध्यान दें। यदि आपकी कोई दवाई चल रही है तो उसे नियमित समय पर लेते रहें और भरपूर परहेज करें। इसी से आप इन समस्याओं से निकल पाएंगे। महीने के उत्तरार्ध में शुक्र यहां से निकल जाएंगे तो समस्याओं में कमी आएगी लेकिन सूर्य और बुध भी छठे भाव में आकर राहु केतु के प्रभाव में पीड़ित अवस्था में होंगे इसलिए इस पूरे महीने आपको अपने स्वास्थ्य पर ध्यान देना होगा।
प्रेम व वैवाहिक
यदि आप किसी प्रेम संबंध में हैं तो महीने की शुरुआत में सूर्य और बुध आपके पंचम भाव में रहकर आपके प्रियतम से आपकी दूरियों को कम करेंगे। आपका आपसी तालमेल बेहतर बनेगा। आप अपनी बातों को खुलकर अपने प्रियतम से कह पाएंगे लेकिन शनि महाराज वक्री दृष्टि से पंचम भाव को देखेंगे जिससे किसी की नजर आपके प्यार को लग सकती है इसलिए प्यार के मामले में थोड़ी नरमी रखें और अपने प्रियतम से थोड़ा कम मिलें या मिलें भी तो लोगों को न बताएं क्योंकि ज्यादा लोगों को पता चलने से आपके रिश्ते में तनाव बढ़ सकता है। महीने के उत्तरार्ध में जब सूर्य कन्या राशि में 16 सितंबर को छठे भाव में चले जाएंगे, तब परिस्थितियां और बिगड़ सकती हैं और एक दूसरे से कहासुनी हो सकती है, फिर बुध महाराज 23 तारीख को आपके छठे भाव में चले जाएंगे, जहां पर सूर्य भी विराजमान होंगे तो इस स्थिति में हल्का सा सुधार होगा लेकिन आप कोई भी ऐसा काम ना करें, जिससे समाज में आपको अपमान सहना पड़े। आपसी समन्वय को बेहतर बनाएं और अपने रिश्ते में मर्यादित बने रहें। इसी से आपका रिश्ता बेहतर चल पाएगा। विवाहित जातकों की बात करें तो सप्तम भाव के स्वामी शुक्र महाराज महीने के पूर्वार्ध में पीड़ित अवस्था में छठे भाव में होंगे, जो आपके वैवाहिक जीवन के लिए अनुकूल नहीं कहा जा सकता है और इससे आप दोनों के बीच तालमेल का अभाव रहेगा। रिश्ते में गर्मा-गर्मी बनी रहेगी और एक दूसरे को समझ पाने में भी समस्या होगी। इसका असर आपके पारिवारिक संबंधों पर पड़ेगा लेकिन 18 सितंबर से शुक्र तुला राशि में आपके सप्तम भाव में लौट आएंगे जिससे इन परिस्थितियों में सुधार आने लगेगा और आप अपने जीवनसाथी से अपनी समस्याओं को दूर करने की बराबर कोशिश करते रहेंगे और अपने वैवाहिक जीवन को और बेहतर बनाने की दिशा में प्रयास करेंगे। संभव हो तो उनके लिए कुछ नए उपहार खरीद कर ला सकते हैं या उनके साथ कहीं बाहर जाकर कुछ समय बिताएं, इससे आपका रिश्ता और बेहतर बनेगा।
पारिवारिक
यह महीना पारिवारिक तौर पर सामान्य रहने की संभावना दिखाई दे रही है। दूसरे भाव के स्वामी शुक्र महाराज महीने की शुरुआत में छठे भाव में पीड़ित अवस्था में रहेंगे जिससे पारिवारिक जीवन में कुछ समस्याएं आ सकती हैं। कुछ संपत्ति या कुटुंबीय विवाद आपको परेशानी दे सकते हैं लेकिन देवगुरु बृहस्पति दूसरे भाव में रहकर इन समस्याओं से बाहर निकलने का रास्ता भी दिखाते रहेंगे। महीने की शुरुआत में पारिवारिक जीवन में थोड़ा तनाव ही रहेगा लेकिन उत्तरार्ध में चुनौतियां कम होंगी और स्थितियों में सुधार आने लगेगा। महीने के पूर्वार्ध में आपकी माताजी की सेहत भी बिगड़ सकती है इसलिए उनकी सेहत का बराबर ध्यान रखें। हालांकि महीने के उत्तरार्द्ध में उनकी सेहत में सुधार होगा और घर का माहौल भी हल्का हो जाएगा। आपके भाइयों से कुछ कहासुनी तो हो सकती है लेकिन समय के साथ वह आपकी मदद ही करेंगे इसलिए उन पर विश्वास रखें और आप भी यथासंभव उनकी सहायता करते रहें। इससे आपके बीच अच्छा सामंजस्य बना रहेगा जो परिवार की बेहतरी के लिए बेहद जरूरी होगा।
उपाय
आपको प्रतिदिन सूर्य को तांबे के पात्र से अर्घ्य देना चाहिए। अर्घ्य वाले जल में हल्दी लगे पीले चावल जरूर डालें।
बृहस्पतिवार के दिन केले के वृक्ष की पूजा करें।
कर्ज से मुक्ति पाने के लिए ऋण मोचक मंगल स्तोत्र का प्रतिदिन पाठ करें।
श्री मंगल महाराज जी के किसी भी मंत्र का नियमित रूप से जाप करें।
बृहस्पतिवार के दिन केले के वृक्ष की पूजा करें।
कर्ज से मुक्ति पाने के लिए ऋण मोचक मंगल स्तोत्र का प्रतिदिन पाठ करें।
श्री मंगल महाराज जी के किसी भी मंत्र का नियमित रूप से जाप करें।
यह राशिफल आपकी चंद्र राशि पर आधारित है। इसके अलावा व्यक्तिगत भविष्यवाणी जानने के लिए ज्योतिषियों के साथ फ़ोन पर या चैट पर जुड़े।
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