मंगल का कुंभ राशि में गोचर (07 अप्रैल, 2022)
इस लेख के द्वारा जानते हैं मंगल का कुंभ राशि में गोचर (07 अप्रैल, 2022) का आपकी राशि पर क्या प्रभाव पड़ने वाला है। मंगल को स्वभाव से उग्र, क्रूर और बेहद प्रभावकारी ग्रह माना गया है। किसी भी जातक की कुंडली में मंगल ग्रह साहस, आत्मविश्वास और शारीरिक इच्छा को नियंत्रित करता है। वहीं व्यवसाय के लिहाज से मंगल सेना, सैनिकों, योद्धाओं, बिल्डरों, इंजीनियरों और रियल एस्टेट से जुड़े व्यवसायों का प्रतिनिधित्व करता है। वैदिक ज्योतिष में भी मंगल ग्रह को ऊर्जा, भाई, भूमि, शक्ति, साहस, पराक्रम, शौर्य का कारक माना गया है। जो हर जातक के जीवन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। ऐसे में किसी भी कुंडली में मंगल का प्रबल प्रभाव जातक को बेहतर सहनशक्ति बनाने, दृढ़ संकल्पी बनने के साथ-साथ उसे ज्यादातर समय युद्ध में विजयी बनाता है। हालांकि कुंडली में मंगल की कमज़ोर स्थिति जातक को कायर बनाती है और इससे जातक के दृढ़ संकल्प में भी भारी कमी देखी जाती है।
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गोचरकाल की अवधि
ऐसे में अब यही लाल ग्रह मंगल 7 अप्रैल 2022, गुरुवार को 14:24 बजे अपनी उच्च राशि मकर से निकलकर शनि देव की ही कुंभ राशि में गोचर करने वाला है। मंगल देव यहाँ इस राशि में अगले महीने 17 मई 2022, मंगलवार तक इसी अवस्था में रहेंगे और फिर पुनः अपना गोचर करते हुए मीन राशि में विराजमान हो जाएंगे।
मंगल का कुंभ में गोचर रहेगा बेहद ख़ास
मंगल का कुंभ राशि में गोचर कई जातकों के जीवन में कुछ निराशा या क्रोध लेकर आ सकता है। यूँ तो मंगल को शनि का शत्रु माना जाता है, लेकिन वैदिक ज्योतिष में मकर राशि मंगल की उच्च राशि कहलाती है जिसके स्वामी ग्रह शनि होते हैं। इसलिए यह गोचर कुंभ राशि के लिए सामान्य ही रहने वाला है। परंतु बावजूद इसके जातकों को इच्छानुसार परिणाम प्राप्त करने के लिए इस दौरान अतिरिक्त मेहनत व प्रयास करने की आवश्यकता होती है। मंगल का कुंभ राशि में गोचर अधिक ऊर्जा हासिल करने, महत्वाकांक्षाओं को पूरा करने और जीवन में आगे बढ़ने के लिए बेहद अनुकूल सिद्ध होगा जिसके लिए आपको शुरुआत से ही अपने प्रयासों में तेजी लेकर आने की भी ज़रूरत होगी। ये गोचर नौकरीपेशा जातकों को कार्यक्षेत्र से जुड़ी किसी विदेश यात्रा पर जाने और मुश्किल परियोजनाओं को भी आसानी से अपनाने में मदद करेगा। ऐसे में ये कहना गलत नहीं होगा कि मंगल देव का ये गोचर कई मायनों में हर राशि के जातक के लिए बेहद महत्वपूर्ण रहने वाला है।
Read in English: Mars Transit in Aquarius - 07 April 2022
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मेष
मंगल देव आपकी राशि के प्रथम और आठवें भाव के स्वामी होते हैं और अब अपने इस गोचर के दौरान वे आपके ग्यारहवें भाव में गोचर करेंगे जो महत्वाकांक्षा, सफलता व लंबी यात्रा को दर्शाता है। ऐसे में मंगल का ये गोचर मेष राशि के जातकों के लिए अनुकूल रहेगा। क्योंकि आप कार्यक्षेत्र पर अपनी टीम या सहकर्मियों के साथ अच्छे संबंधों का आनंद लेते हुए बेहतर समय बिताएंगे। चूंकि मंगल देव आपके राशि स्वामी भी है इसलिए यह गोचर आपको विभिन्न फल देगा।
यदि आपकी पदोन्नति अभी तक किसी कारणवश लंबित थी तो यही वह समय है जब आपको अपनी मेहनत का फल मिल सकेगा। व्यापार से जुड़े जातकों के लिए भी समय विशेष फलदायी रहने वाला है। वहीं आर्थिक जीवन में भी आप खुद को पहले से अधिक तनावमुक्त पाएंगे। परन्तु बावजूद इसके आपको अपनी आर्थिक स्थिति को और अधिक मजबूत करने के लिए निरंतर मेहनत करने की और अपनी आमदनी के अतिरिक्त स्रोतों को बढ़ाने की ज़रूरत होगी। हालांकि कुछ जातकों को इस दौरान किसी प्रकार की अचल संपत्ति से लाभ मिलने के योग भी बन रहे हैं। जिससे आपकी आय में वृद्धि तो होगी ही, साथ ही आप अपने शत्रुओं पर भी विजय प्राप्त करने में सफल रहेंगे।
अब बात करें आपके निजी जीवन की तो पारिवारिक जीवन में घर के सदस्यों के साथ आपके संबंधों में सुधार होगा। साथ ही आप जरूरत के समय अपने बड़े भाई का सहयोग प्राप्त करेंगे। प्रेम संबंधों के लिहाज़ से अवधि कुछ प्रतिकूल रहेगी। क्योंकि इस दौरान प्रेम में पड़े जातकों को प्रियतम के साथ अपने रिश्ते में कुछ गलतफहमियों से दो-चार होना पड़ेगा। हालांकि आपके दोस्त व मित्र इस दौरान आपके लिए मददगार साबित होंगे।
वहीं यदि आप शादीशुदा हैं तो आपके दांपत्य जीवन में चल रही पूर्व की समस्याओं में सुधार देखने को मिलेगा। संभावना अधिक है कि इस दौरान घर पर किसी प्रकार के शुभ कार्यक्रम का आयोजन हो। इसके अलावा स्वास्थ्य जीवन की दृष्टि से भी आप शारीरिक और मानसिक दोनों ही रूप से खुद को खुश और स्वस्थ महसूस करेंगे। लेकिन फिर भी आपको स्वयं को फिट रखने के लिए नियमित रूप से व्यायाम करने की सलाह दी जाती है।
उपायः मिट्टी के किसी बर्तन में सिंदूर या शहद रखने से आपको इस गोचर से अच्छे परिणाम प्राप्त होंगे।
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वृषभ
वृषभ राशि के लोगों के लिए मंगल आपके सातवें तथा बारहवें भाव के स्वामी हैं और अपने इस गोचर के दौरान मंगल देव आपके करियर और व्यवसाय के दशम भाव में विराजमान होंगे। मंगल का यह गोचरकाल करियर के लिहाज से आपको अनुकूल फल देगा। क्योंकि इस दौरान आपको खुद को साबित करने के कई अच्छे मौके मिलेंगे। यह वो समय होगा जब आप कुछ ऐसा करने में सक्षम होंगे, जिससे आप अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन देते हुए दूसरों के सामने उदाहरण पेश करेंगे।
साथ ही अतीत में आपने जो मेहनत की है उसके कारण इस गोचरकाल के दौरान आपको कार्यस्थल पर नाम, प्रसिद्धि और सम्मान भी मिलेगा। बावजूद इसके आपको अपने सभी विरोधियों को कम न आंकते हुए पहले से अधिक सतर्क रहने की सलाह दी जाती है। कोशिश करें कि आपका काम सुचारू रूप से चलता रहे और आपको सभी पेशेवर मामलों में सफलता की प्राप्ति हो। क्योंकि इसके लिए आपके द्वारा की गई कड़ी मेहनत ही आपको लाभ मिलने की संभावना बनाएगी। धन पक्ष के लिहाज़ से भी ये समय आपको अच्छा मुनाफ़ा देगा और आप अपनी सोच-समझ से कई अच्छे निवेश करने का फैसला लेंगे।
अब बात करें आपके निजी जीवन की तो पारिवारिक जीवन में आपको घर के सदस्यों से अपने संबंधों को लेकर थोड़ा अधिक सतर्क रहने और किसी भी कारणवश उनके साथ विवाद में न पड़ने की सलाह दी जाती है। इसके लिए आपको थोड़ा अधिक विनम्र और धैर्य के साथ परिस्थितियों को हल करने का प्रयास करना होगा। क्योंकि ये समय आपके पारिवारिक जीवन के लिए कुछ उतार-चढ़ाव लेकर आ रहा है।
साथ ही इस दौरान आप अपने परिवार के सदस्य के स्वास्थ्य को लेकर भी खासा चिंतित दिखाई देंगे। वहीं प्रेम संबंधों में भी आपको ये गोचर कुछ प्रतिकूल फल देने के योग बनाएगा। इसके अलावा स्वास्थ्य की दृष्टि से आपको सामान्य से अधिक परिश्रम, थकान और शरीर में दर्द के कारण कुछ परेशानी हो सकती है। इसलिए हर प्रकार की स्वास्थ्य समस्याओं को दूर करने के लिए इस समय ध्यान और योगाभ्यास का सहारा लें।
उपायः इस गोचरकाल के दौरान निःसंतान लोगों की मदद करना, आपको सकारात्मक परिणाम देने का कार्य करेगा।
मिथुन
मिथुन राशि के लोगों के लिए मंगल छठे तथा ग्यारहवें भाव के स्वामी होते हैं और अपने इस गोचर के दौरान मंगल देव आपके भाग्य, शिक्षा, पिता, गुरू और धर्म के नवम भाव में विराजमान होंगे। यह अवधि आपके आर्थिक जीवन के लिए अनुकूल रहेगी। क्योंकि इस दौरान आपकी आय में वृद्धि होगी और आप नए स्रोत बनाने में सफल होगी, जिससे आपको काफी हद तक अपनी सभी प्रकार की धन से जुड़ी समस्याओं से निजात मिल सकेगी।
ये समय रियल एस्टेट व भूमि से जुड़े मामलों में भी विशेष सफलता देगा। हालांकि करियर के लिहाज से आपको शुरुआत से ही अपने शत्रुओं के प्रति सतर्कता बरतने की सलाह दी जाती है। क्योंकि ये वो समय होगा जब आपके विरोधी सक्रिय होंगे और लगातार आपकी छवि को नुकसान पहुंचाने की कोशिश करते रहेंगे।
अब बात करें निजी जीवन की तो इस गोचरकाल के दौरान आपका अपने पिता के साथ तर्क-वितर्क या गलतफहमी होने की आशंका है। साथ ही आपके पिता को कुछ स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का भी सामना करना पड़ सकता है। वहीं प्रेम संबंधों को देखें तो कुछ जातक किसी ख़ास व्यक्ति या प्रेमी के साथ किसी लंबी दूरी की यात्रा पर जाने की योजना भी बना सकते हैं।
इसके अलावा स्वास्थ्य के लिहाज से ये गोचर आपको बुखार, थकान या बदन दर्द जैसी समस्याएं दे सकता है। इसलिए इस समय निराशा और अवसाद जैसी किसी भी तरह की नकारात्मक परिस्थिति से बचने के लिए आपको नियमित रूप से योग और ध्यान का अभ्यास करने की सख्त सलाह दी जाती है।
उपायः प्रतिदिन हनुमान जी की पूजा करें।
कर्क
कर्क राशि के लोगों के लिए मंगल आपके पंचम भाव अर्थात त्रिकोण तथा दशम भाव अर्थात केंद्र भाव का स्वामी होकर, आपके लिए योगकारक ग्रह है और अपने इस गोचर के दौरान मंगल देव आपके अष्टम भाव में विराजमान होंगे। जो भाव आपकी आयु, जीवन, बड़े बदलाव और क्रांतिकारी परिवर्तन को दर्शाता है। ये गोचर आपको कार्यक्षेत्र पर कुछ समस्या दे सकता है, क्योंकि आशंका है कि ये अवधि आपका अपने वरिष्ठों या सहकर्मियों के साथ किसी प्रकार के विवाद का कारण बनें।
साथ ही इस दौरान आप कार्यस्थल पर अपने सहकर्मियों और वरिष्ठों से समर्थन भी प्राप्त करने में पूरी तरह असफल रहेंगे। इससे आपको अपने कार्यों के प्रति खुद को केंद्रित रखने में समस्या भी होगी और ये स्थिति आपके मन में कुछ निराशा पैदा कर सकती है। आर्थिक जीवन में भी चल रही समस्याएं आपके मानसिक तनाव में वृद्धि का कारण बन सकती हैं। क्योंकि मंगल देव के इस गोचर के चलते आप स्वयं को आर्थिक रूप से बहुत सुरक्षित स्थिति में नहीं पाएंगे। आप में से कुछ लोग इस अवधि के दौरान किसी प्रकार का कोई ऋण या लोन लेने की योजना भी बना सकते हैं। खासतौर से ये अवधि शेयर बाज़ार, सट्टे या चल संपत्ति से जुड़े जातकों को किसी भी तरह का निवेश न करने के योग दर्शा रही है।
अब बात करें आपके निजी जीवन की तो वो जातक जो शादीशुदा हैं, उन्हें अपने दांपत्य जीवन में कुछ गलतफहमी और अहंकार की समस्याओं के कारण परेशानी संभव है। साथ ही आपको अपने ससुराल पक्ष के सदस्यों के साथ भी कुछ मुद्दों को लेकर परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। वहीं कई जातकों को कुछ समय के लिए अपने परिवार से दूर रहना भी पड़ सकता है।
इसके अलावा स्वास्थ्य की दृष्टि से आपको इस अवधि के दौरान कुछ छोटी-मोटी शारीरिक चोट लग सकती है, जिसके प्रति आपको शुरुआत से ही सावधान रहने की आवश्यकता होगी। खासतौर से खेलकूद से जुड़े खिलाड़ियों को इस समय अतिरिक्त सावधानी बरतते हुए अधिक आत्मविश्वास में आकर कोई भी जोखिम भरा कार्य करने से विशेषरूप से बचना होगा। कई जातकों को रक्त, मूत्र संबंधी या बवासीर से संबंधित कुछ समस्याओं का सामना भी करना होगा।
उपायः धार्मिक स्थलों पर चावल, गुड़ और चने की दाल का दान करें।
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सिंह
सिंह राशि के लोगों के लिए मंगल एक योगकारक ग्रह हैं, क्योंकि यह आपके चौथे (केंद्र भाव) तथा नौवें (त्रिकोण भाव) के स्वामी हैं। मंगल का गोचर आपकी राशि से सातवें भाव में होगा जो जीवनसाथी, व्यवसाय, साझेदारी और विदेशी संबंधों से संबंधित होता है। ऐसे में जहाँ वो लोग जो व्यापार या साझेदारी के व्यवसाय में हैं, उन्हें इस अवधि में लाभ की प्राप्ति होगी और जो नौकरी पेशा हैं उन्हें ये गोचर अपने कार्यालय में पदोन्नति देने के योग बनाएगा।
बावजूद इसके आपको कार्यस्थल पर कुछ छोटी-मोटी समस्याएं हो सकती हैं, जिससे आपका पेशेवर जीवन थोड़ा प्रभावित होगा। इसलिए आपको इस दौरान सबसे अधिक धैर्य बरतने की आवश्यकता होगी, अन्यथा आप अपने सहकर्मियों के साथ किसी प्रकार के झगड़े में पड़ सकते हैं। इसके अलावा आर्थिक जीवन में आपको ये गोचर किसी निवेश से लाभ होने की संभावना बनाएगा। जिसके परिणामस्वरूप आपका कही लंबे समय से अटका हुआ धन आपको पुनः वापस मिल सकेगा।
अब बात करें आपके निजी जीवन की तो शादीशुदा जातकों को अपने जीवनसाथी के साथ संबंधों में कुछ परेशानी संभव है। क्योंकि इस दौरान आपके प्रति जीवनसाथी के व्यवहार में नकारात्मक बदलाव देखने को मिलेंगे। साथ ही वे आपकी किसी बात से नाराज़ या क्रोधित हो सकते हैं, जिससे सीधे तौर पर आपके रिश्ते में तनाव उत्पन्न होने की आशंका रहेगी। ऐसे में आपको नैतिक आचरण बनाए रखने और संदिग्ध चरित्र के व्यक्ति से जितना संभव हो दूर रहने की जरूरत होगी।
साथ ही जिन महिलाओं/पुरुषों की छवि समाज में खराब हैं, उनसे भी आपको पर्याप्त दूरी बनाकर रखने की सलाह दी जाती है। वहीं आप अपने दोस्तों व मित्रों के साथ इस समय का जमकर आनंद लेना चाहेंगे। इसके अलावा स्वास्थ्य की दृष्टि से मंगल देव का ये गोचर आपकी सेहत में सुधार लेकर आएगा। जिसके परिणामस्वरूप आपको स्वास्थ्य संबंधी सभी समस्याओं से निजात मिल सकेगी। हालांकि इस अवधि के दौरान आपके जीवनसाथी को कुछ स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए अपने जीवनसाथी की अच्छे से देखभाल करें।
उपायः मंगलवार के दिन "ॐ अं अंगारकाय नमः" का जप करें।
कन्या
कन्या राशि के लोगों के लिए मंगल तीसरे तथा आठवें भाव के स्वामी होते हैं और अब अपने इस गोचर के दौरान वे आपकी राशि से छठे भाव में विराजमान होंगे जो ऋण, शत्रु, स्वास्थ्य, व्यवसाय और कठिन परिश्रम से संबंधित होता है। ऐसे में मंगल का यह गोचर आपके लिए अनुकूल साबित होगा। क्योंकि इस दौरान किसी भी समस्या के बावजूद आप अधिक ऊर्जावान और उत्साहित दिखाई देंगे। आपके मन में कई नए विचारों की उन्नति होगी और अतीत में की गई मेहनत व प्रयास आपको इस गोचर के दौरान पुरस्कृत परिणाम देने का कार्य करेंगे।
हालांकि इस दौरान आपके विरोधी व शत्रु आपकी छवि खराब करने की कोशिश भी कर सकते हैं, लेकिन आपको चिंता करने की जरूरत नहीं है। क्योंकि वे तमाम कोशिशों के बावजूद भी सफल नहीं हो पाएंगे। ये समय आपको केवल और केवल अपने कार्यों के प्रति ही केंद्रित रखेगा और बेहतर परिणाम प्राप्त करने के लिए आप पूरे दृढ़ संकल्प के साथ कड़ी मेहनत करते हुए कार्यस्थल पर अपने वरिष्ठ अधिकारियों व बॉस का दिल जीत सकेंगे।
अब बात करें आपके आर्थिक जीवन की तो यह अवधि आपके लिए धन संबंधित मामलों में कुछ असंतोषजनक रहेगी। क्योंकि आप अपने द्वारा किए गए निवेश में अधिक लाभ नहीं अर्जित करेंगे। इसलिए आपको यह सलाह दी जाती है कि धैर्य रखें और भविष्य में परिस्थितियों के बेहतर होने की प्रतीक्षा करें। यदि कोर्ट-कचहरी से संबंधित कोई मुद्दा लंबित था तो उसका निर्णय आपके पक्ष में आने की संभावना अधिक है।
इसके अलावा निजी जीवन में जहाँ शादीशुदा जातकों के जीवनसाथी को स्वास्थ्य कष्ट संभव है तो वहीं आपको इस समय अपनी मां की देखभाल करने की भी सलाह दी जाती है। हालांकि ये वो समय होगा जब आप समाज में प्रशंसा व मान-सम्मान हासिल करेंगे और आपकी रुचि भी धार्मिक गतिविधियों की ओर अधिक होगी। स्वास्थ्य के लिहाज़ से ये गोचर आपको अच्छा व स्वस्थ जीवन देगा। परंतु आप बीच-बीच में कुछ मामूली संक्रमण से पीड़ित हो सकते हैं। इसलिए अपनी सेहत के प्रति भी पहले से अधिक सावधानी बरतें।
उपायः बालक के जन्म पर मिठाई की जगह नमक बांटे।
तुला
तुला राशि के लिए मंगल दूसरे और सातवें भाव का स्वामी होने के कारण मारक भी है और अब अपने इस गोचर के दौरान मंगल आपकी राशि से पंचम भाव में विराजमान होंगे जो बुद्धि, विद्या, प्रेम संबंध और संतान को दर्शाता है। ऐसे में इस समय आपके करियर के क्षेत्र में जहां कुछ उतार-चढ़ाव देखने को मिलेंगे। वहीं कुछ जातक नई नौकरी पाने की योजना भी बना सकते हैं।
साथ ही ये अवधि कार्यस्थल पर आपको अतिरिक्त सतर्क रहने की ओर भी इशारा कर रही है। क्योंकि आशंका अधिक है कि आपको कार्यस्थल पर अन्य लोगों के षड्यंत्र के कारण समस्या हो। आर्थिक जीवन में भी यूँ तो आपकी स्थिति में सुधार होना शुरू हो जाएगा। परंतु बावजूद इसके यदि आप पर कोई कर्ज या ऋण लेना चाहते है तो आपको उसे चुकाना इस समय ख़ासा मुश्किल रहेगा। इस गोचरकाल के दौरान आपको किसी भी तरह के सट्टे बाज़ार या स्टॉक मार्किट में निवेश करने से भी बचना चाहिए, अन्यथा आपको भारी नुकसान संभव है।
अब बात करें आपके निजी जीवन की तो आपको अपने प्रेम संबंधों में कुछ समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि कुछ जातकों का अपने प्रियतम के साथ प्रेम विवाह होने की भी संभावना अधिक रहेगी। परंतु किसी के साथ नए संबंध विकसित करते समय बहुत सावधान रहें, क्योंकि आपको धोखा मिल सकता है। वहीं यदि आप शादीशुदा हैं तो आपके अपने जीवनसाथी के साथ संबंध सामान्य रहेंगे। लेकिन आशंका ये भी है कि आपकी संतान अपने क्षेत्र में अपना अच्छा प्रदर्शन न दें या उनका खराब स्वास्थ्य भी आपके लिए कुछ चिंता का कारण बन सकता है।
इसके अलावा सेहत की दृष्टि से यूँ तो इस समयावधि के दौरान आप स्वयं तंदुरुस्त और सेहतमन्द रहेंगे। लेकिन आपके बच्चों को कुछ शारीरिक समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए उनकी सेहत का उचित ख्याल रखें और ज़रूरत पड़ने पर उन्हें किसी अच्छे डॉक्टर के पास लेकर जाएं।
उपायः हर मंगलवार के दिन श्री हनुमान चालीसा का पाठ करें।
वृश्चिक
वृश्चिक राशि के लोगों के लिए मंगल आपके छठे भाव और प्रथम भाव के स्वामी होते हैं और अपने इस गोचर के दौरान वे अब आपकी राशि से चौथे भाव में विराजमान होंगे जो आपके सुख, परिवार, माता, वाहन और प्रॉपर्टी का कारक होता है। ये अवधि आपको अपने सभी बड़े कार्यों को पूरा करने में सफल बनाएगी और साथ ही आप अपने मित्रों और परिवार के सदस्यों का भरपूर सहयोग भी हासिल करने में सक्षम होंगे।
हालांकि मंगल देव आपके स्वभाव में बहुत आक्रामकता भी लेकर आएंगे। जिसके परिणामस्वरूप आपका अपने परिवार के सदस्यों, मित्रों आदि के साथ ही अपने आस-पास के लोगों से भी अपने संबंधों पर असर पड़ेगा। इसके अलावा आपका आक्रामक व्यवहार आपके कार्यक्षेत्र पर कई समस्याओं को भी जन्म दे सकता है। इसलिए हर परिस्थिति में आपको खुद को शांत रखने और दूसरों से अच्छे से बातचीत करने की ख़ास सलाह दी जाती है।
अब बात करें धन पक्ष के लिहाज़ से तो ये अवधि आपके आर्थिक जीवन के लिए औसत रहेगी। इसलिए इस समय शेयर बाजार या किसी भी संपत्ति में निवेश करना आपके लिए बहुत अधिक अनुकूल नहीं रहने वाला है। वहीं दांपत्य जातकों को इस दौरान अपनी संतानपक्ष के साथ संबंधों में कुछ समस्याओं से दो-चार होना पड़ेगा और इसका सीधे तौर पर नकारात्मक प्रभाव उनके साथ आपके रिश्तों को प्रभावित करने वाला है।
परंतु आप अपने जीवनसाथी का पूरा सहयोग प्राप्त कर सकेंगे। वहीं स्वास्थ्य की दृष्टि से आपको सलाह दी जाती है कि अपनी मां के स्वास्थ्य के प्रति शुरुआत से ही सावधानी बरतें और वो जातक जिन्हे ब्लड प्रेशर या दिल से संबंधित कोई समस्या थी तो उन्हें स्वयं का भी उचित ध्यान रखने की अधिक ज़रूरत होगी।
उपायः प्रतिदिन या प्रत्येक मंगलवार के दिन लाल ग्रह मंगल की पूजा करें।
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धनु
धनु राशि के लोगों के लिए मंगल आपके पंचम भाव तथा द्वादश भाव के स्वामी होते हैं और अब अपने इस गोचर के दौरान वे आपकी राशि से तृतीय भाव में गोचर कर रहे हैं। कुंडली में ये भाव छोटे भाई-बहन, छोटी यात्रा, पराक्रम और धैर्य से संबंधित होता है। ऐसे में ये अवधि आपको नए व्यवसाय के कई शुभ अवसर देने वाली है। जिसके परिणामस्वरूप आप अपनी कार्य कुशलता और तकनीकी क्षमताओं के माध्यम से विभिन्न क्षेत्रों में अपार सफलता अर्जित कर सकेंगे।
इस समय आपके लिए यात्राएं भी काफी फायदेमंद साबित होंगी। खासकर अगर ये यात्राएं आपके कार्यक्षेत्र से संबंधित हैं तो आप उससे अच्छा मुनाफ़ा हासिल करने में सक्षम होंगे। अब बात करें आपके आर्थिक जीवन की तो धन पक्ष के लिहाज़ से यह अवधि आपके लिए बेहद अनुकूल सिद्ध होगी। क्योंकि इस दौरान आपके द्वारा किये गए हर निवेश से आप अच्छा रिटर्न प्राप्त करते हुए मुनाफा कमा सकेंगे।
साथ ही यह अवधि आपके ख़र्चों में अत्यधिक वृद्धि में लेकर आ सकती है। इसलिए आपको शुऊआत से ही अपने ख़र्चों के प्रति सतर्क रहने की ज़रूरत होगी। इस दौरान यदि आप निवेश करना चाहते हैं तो किसी विशेषज्ञ की मदद ज़रूर लें। क्योंकि उनका मार्गदर्शन आपके लिए बहुत सहायक सिद्ध होगा।
इसके अलावा निजी जीवन में भी जहां इस दौरान आपके जीवनसाथी या पार्टनर के साथ आपके संबंध पहले से अच्छे रहेंगे। वहीं कई जातकों के घर पर कोई शुभ कार्य होने की भी संभावना है। वहीं स्वास्थ्य की दृष्टि से सब कुछ ठीक-ठाक ही रहेगा। इसके परिणामस्वरूप आप इस गोचरकाल के दौरान शारीरिक रूप से अपने अच्छे स्वास्थ्य का खुलकर आनंद लेते दिखाई देंगे।
उपायः अपने छोटे भाई के साथ बातचीत के दौरान उदारता दिखाए व अहंकार करने से बचें। क्योंकि उनके साथ अच्छे संबंध, आपको भाग्य का साथ देने का कार्य करेंगे।
मकर
मकर राशि के लोगों के लिए मंगल आपके चतुर्थ भाव तथा एकादश भाव के स्वामी होते हैं और अब अपने इस गोचर के दौरान वे आपकी राशि से दूसरे भाव में गोचर कर रहे हैं। कुंडली में ये भाव भाषा, संचार, परिवार और आर्थिक पक्ष को दर्शाता है। ऐसे में इस गोचरकाल की ये अवधि आपके लिए सामान्य ही रहने वाली है। क्योंकि इस दौरान आपके घर-परिवार में कुछ नकारात्मक वातावरण देखने को मिलेगा। जिससे आपको अधिक मानसिक तनाव से दो-चार होना पड़ सकता है।
साथ ही मंगल देव आपकी वाणी में थोड़ी कड़वाहट और क्रोध भी लेकर आएंगे। इससे आपको जीवन के अलग-अलग क्षेत्रों में समस्या हो सकती है। इसलिए आपको इस दौरान खासतौर पर इस तरह के व्यवहार से बचने की सलाह दी जाती है।
अब बात करें आपके आर्थिक जीवन की, यदि आप उचित शोध के बाद निवेश करते हैं तो आप कुछ धन अर्जित करने में सक्षम होंगे। परंतु बावजूद इसके आपको शुरुआत से ही अपने धन या निवेश को लेकर बहुत सावधान रहने की ज़रूरत होगी। अन्यथा धन से जुड़ा कुछ नुकसान संभव है।
इसके अलावा स्वास्थ्य के लिहाज से भी आपको विशेषरूप से जल्दबाजी में वाहन चलाने से बचना होगा, अन्यथा आप किसी चोट या दुर्घटना का शिकार हो सकते हैं। आशंका अधिक है कि ये चोट सबसे अधिक आपके चेहरे को नुकसान पहुंचाए। वहीं कुछ जातक शरीर में दर्द, थकान और अनिद्रा के कारण भी चिंतित नज़र आएंगे। इसलिए उन्हें भी स्वयं का अधिक ध्यान रखना होगा।
उपायः अपने पूर्वजों का मान-सम्मान करें और किसी भी मंदिर में जाकर एक नीम का पेड़ लगाएं।
कुंभ
कुंभ राशि के लोगों के लिए मंगल आपके तृतीय भाव तथा दशम भाव के स्वामी होते हैं और अब अपने इस गोचर के दौरान वे आपकी ही राशि यानी आपके प्रथम भाव में गोचर कर रहे हैं। कुंडली में प्रथम भाव स्वभाव, स्वयं, व्यक्तित्व और चरित्र को दर्शाता है। ऐसे में इस गोचर के दौरान आप अपने व्यवहार में कई बदलाव महसूस करेंगे और आपको अचानक से अपने स्वभाव में कुछ चिड़चिड़ापन और हठ का अहसास भी होगा।
हालांकि करियर के लिहाज से आप अपने कार्यस्थल पर अपना प्रदर्शन पहले से बेहतर दे सकेंगे और इससे आपको अपने पूर्व के अधूरे पड़े कार्यों को भी पूरा करने में मदद मिलेगी। परंतु बावजूद इसके आपको खासतौर से सलाह दी जाती है कि जल्दबाजी में कोई भी निर्णय न लें और इस गोचरकाल के दौरान कोई भी नया व्यापार शुरू करने से बचते हुए अभी अपने लंबित पड़े कार्य को पूरा करने पर ही अपना ध्यान केंद्रित करें।
अब बात करें आपके आर्थिक जीवन की तो उसके लिए समय यूँ तो सामान्य ही रहेगा। परंतु आपके खर्चों में काफी वृद्धि देखी जा सकती है। क्योंकि ये वो समय होगा जब आपका रुझान भौतिक और सांसारिक सुखों की प्राप्ति हेतु अधिक रहने वाला है। वहीं निजी जीवन में भी आप अपने संबंध करीबियों व सामाजिक लोगों के साथ तब तक बेहतर रखने में सफल होंगे, जब तक आप स्वयं के स्वभाव को नियंत्रित रखते हुए उसे शांत रखने में सक्षम होंगे।
इसके अलावा स्वास्थ्य जीवन की दृष्टि से आपको कुछ संक्रामक रोगों के प्रति विशेष ध्यान रखने की ज़रूरत होगी। अन्यथा उससे छुटकारा पाना इस अवधि के दौरान आपके लिए ख़ासा मुश्किल रहेगा। कुछ जातकों को छोटी-मोटी दुर्घटना होने की भी आशंका है। इसलिए उन्हें भी शुरुआत से ही आवश्यक सावधानी बरतनी होगी।
उपायः मुफ्त में या दान में दी गई वस्तुओं को कभी भी स्वीकार न करें।
मीन
राशिचक्र की अंतिम राशि मीन के जातकों के लिए मंगल दूसरे भाव तथा नवम भाव के स्वामी होते हैं और अब अपने इस गोचर के दौरान वे आपकी राशि से द्वादश भाव में गोचर कर रहे हैं। कुंडली में यह भाव आपके सुख, अनिद्रा, विदेश मामले और यात्रा से संबंधित होता है। ऐसे में मंगल का ये गोचर आपके लिए बहुत अधिक अनुकूल नहीं रहने वाला है। क्योंकि इस दौरान आपको अपने प्रयासों में असफलता मिलेगी, जिससे आप कुछ असंतुष्टि महसूस कर सकते हैं।
आपके विरोधी और प्रतियोगी भी इस समय सक्रिय होंगे और वे लगातार आप पर दबाव बनाते हुए, आपकी छवि खराब करने की कोशिश करते दिखाई देंगे। जिसके परिणामस्वरूप ये परिस्थितियां आपको परेशान करते हुए, दूसरों के प्रति आपके स्वभाव में ईर्ष्या की प्रवृत्ति को विकसित कर सकती हैं। साथ ही मंगल देव आपके स्वभाव और वाणी में गर्मजोशी व आक्रामकता की भी वृद्धि करने वाले हैं।
अब बात करें आपके धन पक्ष की तो गोचरकाल की यह अवधि आपके ख़र्चों में अप्रकाशित वृद्धि करेगी। इस कारण यदि आपने समय रहते उनपर नियंत्रण नहीं लगाया तो आपको कुछ आर्थिक समस्याओं का भी सामना करना पड़ सकता है। इसके अलावा आपके निजी जीवन को देखें तो पारिवारिक जीवन थोड़ा अशांत प्रतीत होगा और आशंका है कि आप घर के सदस्यों के साथ अपने संबंधों को लेकर पूरी तरह से संतुष्टि महसूस न करें।
वहीं स्वास्थ्य जीवन के दृष्टिकोण से ये समय आपको कुछ मानसिक तनाव, शरीर में दर्द और थकान देने वाला है। इसलिए आपको नियमित रूप से व्यायाम, ध्यान और योग का अभ्यास करने की सलाह दी जाती है। क्योंकि तभी आप स्वयं को सभी प्रकार के मानसिक तनाव से दूर रखने में सफल होंगे।
उपायः नियमित रूप से रोजाना सुबह सबसे पहले शहद का सेवन करें।
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