राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के बारे में सारी जानकारी आपको एस्ट्रोसेज द्वारा प्रस्तुत इस आर्टिकल में प्राप्त होगी। यहां आपको बताया जाएगा कि 2023 में राहु की गति के आधार पर सभी 12 राशियों में जन्म लेने वाले जातकों का जीवन किस प्रकार से प्रभावित होगा और आपके जीवन पर राहु के गोचर का क्या प्रभाव पड़ेगा। साथ ही आपको वैदिक ज्योतिष पर आधारित साल 2023 की भविष्यवाणी भी बताई जाएगी। छाया ग्रह राहु का 2023 में मीन राशि में होने वाला गोचर आपके जीवन के विभिन्न क्षेत्रों जैसे कि आपके पेशेवर जीवन, प्रेम जीवन, वैवाहिक जीवन, शिक्षा, स्वास्थ्य, तथा करियर आदि पर किस प्रकार का प्रभाव डाल सकता है और किस तरह की संभावनाएं आपके लिए निर्मित करेगा। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) का यह विशेष गोचर फल सुविख्यात ज्योतिषी डॉ मृगांक के द्वारा राहु की वर्ष 2023 के दौरान रहने वाली विशेष परिस्थिति को दृष्टिगोचर रखते हुए तैयार किया गया है।
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वैदिक ज्योतिष के अंतर्गत शनि ग्रह को सर्वाधिक मंद ग्रह माना जाता है और गोचर के समय अंतराल को देखकर उसके बाद राहु का क्रम आता है जो कि सदैव वक्री चाल चलता है और लगभग डेढ़ वर्ष की अवधि में यह अपनी राशि बदलता है। राहु को शनि वत राहु कहा जाता है अर्थात यह शनि के समान भी फल देता है। यदि वर्ष 2023 के दौरान होने वाले राहु गोचर की बात की जाए तो इस वर्ष 30 अक्टूबर तक राहु महाराज मंगल देव जी के प्रतिनिधित्व वाली मेष राशि में विराजमान रहेंगे और 30 अक्टूबर की दोपहर 2:13 बजे अपनी वक्री चाल चलते हुए मेष राशि से निकलकर देव गुरु के अधीन आने वाली मीन राशि में प्रवेश करेंगे।
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वैदिक ज्योतिष में नवग्रहों को प्रमुख स्थान दिया गया है, जिनमें सात ग्रह पूर्ण ग्रह माने जाते हैं जैसे कि सूर्य, चंद्रमा, बुध, मंगल, शुक्र, शनि और बृहस्पति लेकिन इन्हीं में दो ग्रह छाया ग्रह कहलाते हैं, जिनमें पहला है राहु और दूसरा है केतु। वैदिक ज्योतिष, जिसे कुछ लोग हिंदू ज्योतिष भी कहते हैं, में राहु-केतु का आध्यात्मिक और धार्मिक दृष्टिकोण भी बहुत महत्वपूर्ण है। इन छाया ग्रहों का भौतिक अस्तित्व नहीं है। राहु-केतु को सूर्य और चंद्र के परिक्रमा पथ के कटान बिंदु के रूप में जाना जाता है लेकिन आध्यात्मिक रूप से देखें तो शास्त्रों में एक पौराणिक कथा का जिक्र मिलता है जिसे समुद्र मंथन के नाम से हम सभी जानते हैं। एक बार देवता और असुरों के बीच समुद्र मंथन की प्रक्रिया को जन्म दिया गया जिसमें मंदराचल पर्वत को मथनी और वासुकी नाग को रस्सी के रूप में प्रयोग किया गया। भगवान श्री महाविष्णु जी ने पूर्ण रूप लेकर इसे आधार प्रदान किया और तब देवताओं और दानवों ने साथ मिलकर समुद्र मंथन किया जिसमें अनेक प्रकार के रत्नों की प्राप्ति हुई।
सर्वप्रथम उसमें हलाहल विष निकला जिसका पान भगवान शिव ने किया और समस्त संसार की रक्षा की। उसके बाद अनेक तरीके के रत्न, आभूषण और वस्तुओं की प्राप्ति हुई जिसे देवताओं और दानवों ने आपस में बांट लिया और सबसे अंत में अमृत निकला जिसे लेकर देवताओं और दानवों में युद्ध छिड़ गया। दोनों ही उसे पहले प्राप्त करके अमर हो जाना चाहते थे कि तभी देवताओं ने भगवान विष्णु की शरण ली जिन्होंने मोहिनी अवतार धारण किया और देवताओं और असुरों को अलग-अलग पंक्तियों में बैठने के लिए कहा। मोहिनी के रूप का मायाजाल असुरों को अपने मोह के बंधन में बांधने में सफल रहा और वे एक-एक करके सबसे पहले देवताओं को अमृत पान कराने लगे लेकिन एक असुर जिसका नाम स्वर्भानु था, अपना वेश बदलकर देवताओं की पंक्ति में जा बैठा और जैसे ही उसने अमृत पान किया, सूर्य देव और चंद्र देव ने उसे पहचान लिया तथा भगवान मोहिनी को बता दिया। तुरंत भगवान विष्णु ने अपने सुदर्शन चक्र से उसका सर धड़ से अलग कर दिया। इसमें सिर का हिस्सा राहु कहलाया और धड़ को केतु के नाम से पहचाना जाने लगा लेकिन अमृत के प्रभाव से उसकी मृत्यु नहीं हुई। तब से यह राहु और केतु, सूर्य और चंद्र को ग्रहण लगाते हैं।
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राहु एक धुएं के समान है जो व्यक्ति के जीवन में भ्रम फैलाने का कार्य भी करता है। राहु का नाम कूटनीति में माहिर है इसलिए जिन लोगों को राहु की कृपा प्राप्त होती है, वे राजनीति और कूटनीति के क्षेत्र में माहिर बनते हैं लेकिन राहु बहुत जल्दी रूप बदलने वाला और तेज बुद्धि वाला है। यह व्यक्ति को भरमा (भ्रमित करना) सकता है। अगर इसके गुण और दोषों की बात की जाए तो यह तत्काल प्रभाव देने वाला ग्रह है। यह रातों-रात व्यक्ति को अमीर बना सकता है। राहु की दशा में जातक को स्वप्न में सर्प अधिक दिखाई देते हैं क्योंकि राहु का संबंध सर्प से भी माना जाता है। यह जीवन में झूठी आशाएं, अंधविश्वास और धुंधली दृष्टि भी ला सकता है लेकिन यदि कुंडली में योगकारक ग्रह के साथ केंद्र अथवा त्रिकोण भाव में स्थित हो जाए तो योगकारक बनकर जीवन में हर सफलता प्रदान कर सकता है।
वर्तमान कलयुग में तो राहु का प्रभाव और भी अधिक है। जिन जातकों पर राहु का प्रभाव अधिक होता है, वे ख्याली पुलाव पकाने वाले और दिवास्वप्न देखने वाले भी व्यक्ति हो सकते हैं। यह जातक को व्यसनों की ओर भी ले जा सकता है। किसी तरह की बुरी लत, अवैध गतिविधियां, जुआ, नशा, आदि भी राहु करा सकता है तो वहीं वर्तमान रूढ़ियों को दरकिनार करते हुए क्रांति फैलाने का काम और नवाचार भी राहु प्रदान करता है। यह सब कुछ ऐसी स्थिति पर निर्भर करता है कि आपकी कुंडली में राहु किस प्रकार फल देने वाला ग्रह बना है। आमतौर पर राहु तीसरे भाव, छठे भाव, दसवें भाव और ग्यारहवें भाव में सर्वाधिक शुभ फल प्रदान करने वाला ग्रह माना जाता है। यहां स्थित राहु व्यक्ति को मान-सम्मान दिलाता है। धन की प्राप्ति कराता है। शत्रुओं पर विजय दिलाता है और व्यक्ति को मजबूत व्यक्तित्व प्रदान करता है।
राहु कुंडली के जिस भाव में बैठता है, उसके प्रभाव में तत्काल वृद्धि कर देता है इसलिए यदि वह शुभ फलदायक है तो शुभ फलों में भी बढ़ोतरी कर सकता है और यदि अशुभ है तो अशुभ प्रभावों में भी बढ़ोतरी कर सकता है। राहु की एक विशेषता यह भी है कि यह जिस भी ग्रह के साथ कुंडली में स्थित हो या जिस ग्रह का प्रभाव राहु पर आ रहा हो, यदि कुंडली में कमजोर है तो उसी के अनुसार व्यवहार करने लगता है। वर्तमान समय में हम इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी के युग में जी रहे हैं। यह भी राहु महाराज जी की ही देन है क्योंकि यह जीवन में तकनीकी दक्षता प्रदान करते हैं। यह व्यक्ति को आम सोच से अलग क्रांतिकारी और लीक से हटकर चलने वाला व्यक्ति बनाते हैं। यह उदारता भी प्रदान करते हैं।
विमान, तकनीकी स्रोत, मीडिया आदि पर भी राहु का अधिकार रहता है। पहले जिस राहु को अशुभ ग्रह के रूप में माना जाता था, वर्तमान समय में उसके कई अनछुए तथ्यों को जानकर राहु जीवन में नवाचार का प्रतीक बन गया है। यदि राहु की कृपा सही तरीके से प्राप्त की जाए तो यह व्यक्ति को जीवन में हर सफलता प्रदान कर सकता है। वर्ष 2023 में होने वाला राहु का गोचर आपकी राशि पर क्या प्रभाव देगा, यह जानने के लिए इस लेख को अब आप आगे पढ़िए।
बृहत् कुंडली: जानें ग्रहों का आपके जीवन पर प्रभाव और उपाय
मेष राशि के जातकों के लिए वर्ष की शुरुआत में राहु महाराज आपकी ही राशि में यानी आपके प्रथम भाव में गोचर करते रहेंगे। राहु यहां स्थित रहकर आपकी बुद्धि को कुछ हद तक भ्रम में भी डालेंगे और हर काम में आप जल्दबाजी दिखाएंगे जिससे आपके कुछ कार्यों में समस्याएं भी आ सकती हैं जिनके लिए आपको बाद में पछताना पड़ेगा। आप एक सम्राट के समान स्वयं को समझेंगे और अपने अच्छे मित्रों को भी सही रूप में नहीं लेंगे। ऐसे में किसी ना किसी से आपका झगड़ा हो सकता है इसलिए इस समय को थोड़ा सावधानी से गुजारें। विद्यार्थियों को शिक्षा में कुछ रुकावटों का सामना करना पड़ सकता है और धन हानि के प्रबल योग बन सकते हैं इसलिए सावधानी रखना बेहद आवश्यक होगा। इसके बाद मई से अगस्त के बीच का समय गुरु-चांडाल दोष के प्रभाव से आपके स्वास्थ्य, आपकी सोचने-समझने की शक्ति, आपके दांपत्य जीवन तथा आपके व्यापार को प्रभावित करेगा इसलिए आपको सावधानी रखनी होगी। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के अनुसार, 30 अक्टूबर को राहु आपके द्वादश भाव में प्रवेश करके विदेश यात्रा के योग बनाएंगे। धर्म-कर्म के कामों में आप बहुत ज्यादा बढ़-चढ़कर हिस्सा लेंगे लेकिन बाहरी मन से ही काम करेंगे। आपके खर्चों में अच्छी बढ़ोतरी देखने को मिलेगी लेकिन यह समय आपको कोई बड़ी उपलब्धि भी प्रदान कर सकता है।
उपाय: आपको शनिवार के दिन काले तिलों का दान करना चाहिए।
वृषभ राशि के जातकों के लिए राहु इस वर्ष की शुरुआत में आपकी राशि से द्वादश भाव में विराजमान रहेंगे और आपके खर्चों में लगातार बेतहाशा बढ़ोतरी कराते रहेंगे। यहां स्थित राहु आपको फिजूल खर्च करने वाला बनाएंगे। आप बिना सोचे-समझे धन का खर्च करेंगे, जिससे आपको मानसिक रूप से परेशानी हो सकती है। यदि आप सही दिशा में काम नहीं करेंगे तो कानूनन रूप से आपको दंडित भी किया जा सकता है। इस दौरान शारीरिक रूप से भी परेशानियां हो सकती हैं और आपको अस्पताल के चक्कर भी काटने पड़ सकते हैं। यदि आपकी कुंडली में अच्छी स्थिति है तो यही राहु आपको विदेश यात्रा भी करा सकता है। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के मुताबिक़ 22 अप्रैल को बृहस्पति राहु से आकर मिलेंगे तो इस प्रकार अप्रैल के अंत से लेकर अगस्त के बीच तक गुरु-राहु का चांडाल दोष प्रभाव दिखाएगा जिससे सेहत से जुड़ी समस्याएं और मानहानि की समस्या आपके सामने आ सकती हैं, इनका ध्यान रखें। 30 अक्टूबर को होने वाला राहु का गोचर आपकी राशि से एकादश भाव में होगा जो आपके लिए अत्यंत शुभ फल प्रदान करेगा। आपकी महत्वाकांक्षाओं की पूर्ति होगी। मन में दबी हुई पुरानी इच्छाएं सामने आएंगी और वह पूरी होंगी। आपकी योजनाओं में सफलता के योग बनेंगे। उत्तम आर्थिक लाभ के योग बनेंगे और जो आप प्राप्त करना लंबे समय से चाह रहे थे, वह इस दौरान आपको प्राप्त हो जाएगा। राजनीति के क्षेत्र में भी सफलता मिलेगी और विरोधी मुंह की खाएंगे।
उपाय: आपको राहु ग्रह की कृपा प्राप्ति के लिए राहु के मंत्र जाप करने चाहिए।
मिथुन राशि के जातकों के लिए राहु इस वर्ष की शुरुआत में आपके एकादश भाव में गोचर कर रहे हैं जिससे पिछले लंबे समय से आपकी बहुत इच्छाएं पूरी हुई हैं। आपको समाज में एक अच्छा स्थान मिला है। आपके सामाजिक दायरे में भी बढ़ोतरी होने की प्रबल संभावना है। इस वर्ष भी अधिकांश समय आपके एकादश भाव में रहने से राहु आपको सामाजिक स्तर पर बहुत सक्रिय बनाएंगे। आप समाज के कामों में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेंगे। राजनीतिक क्षेत्र हो या सामाजिक क्षेत्र, आप अपना नाम आगे बढ़ाएंगे और बड़े-बड़े भाषणों और स्पीच में आपका नाम लिया जाएगा। यह समय आपको अच्छी उन्नति देगा। आर्थिक रूप से भी यह समय मजबूती प्रदान करेगा। गुरु-चांडाल दोष के प्रभाव से अप्रैल के अंत से अगस्त के बीच का समय थोड़ा सा तनावपूर्ण हो सकता है लेकिन बहुत ज्यादा परेशानी आपके सामने नहीं आएंगी। फिर 30 अक्टूबर को राहु आपके दशम भाव में गोचर करेंगे। वहां से आपके कार्यस्थल में कुछ बदलाव के योग आएंगे लेकिन आप अपनी मेहनत के बल पर अपनी अच्छी स्थिति निर्मित कर पाएंगे और कार्यक्षेत्र में आपको आपके काम के लिए सराहना प्राप्त होगी। जो काम दूसरों के लिए मुश्किल होगा, उसे एक चुटकी बजाते ही कर डालेंगे। पारिवारिक जीवन में आपको कुछ समस्याओं का सामना करना पड़ेगा क्योंकि आपका सारा ध्यान आपके काम में होगा और अति व्यस्तता के चलते परिवार को हाशिए पर रख सकते हैं, जो आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है लेकिन वैसे आपको उन्नति मिलेगी।
उपाय: बुधवार के दिन गौ माता को हरा चारा या साबुत मूंग की दाल अवश्य खिलाएं।
कर्क राशि के जातकों के लिए राहु अक्टूबर 2023 के अंत तक आपकी राशि से दशम भाव में प्रवेश करेंगे। यह समय आपकी परिपक्वता यानी कि आप अपने काम पर कितनी पकड़ रखते हैं, उसको बढ़ाने वाला होगा। आपको अपने कार्यक्षेत्र में सफलताएं मिलेंगी। आपकी मेहनत सर चढ़कर बोलेगी और आप जो भी मेहनत करेंगे, वह सामने दिखाई देगी। आप पर्दे के पीछे रहकर नहीं बल्कि पर्दे के आगे रहकर काम करना पसंद करेंगे और आप यह भी उम्मीद रखेंगे कि आप जितना काम करें, उसके बदले में उसका आपको अच्छा प्रतिफल मिले। हालांकि वह पूर्ण रुप से ना मिल पाए तो आप थोड़ा दुःखी होंगे लेकिन आपको इस समय में भरपूर सम्मान मिलेगा। आपके काम में सफलता के योग बनेंगे और कार्यक्षेत्र में आप मजबूती से डटे रहेंगे। 22 अप्रैल से लेकर लगभग 28 अगस्त के बीच का समय कार्यक्षेत्र में उतार-चढ़ाव दिखा सकता है। किसी तरह की कंट्रोवर्सी से बचना ही बेहतर होगा। 30 अक्टूबर को राहु आपकी राशि से नवम भाव में आकर आपके भाग्य स्थान को प्रभावित करेंगे। गंगा स्नान और लम्बी यात्राओं के योग बनेंगे। विदेश जाने की संभावना जागृत करेंगे और इस दिशा में अभी आपने प्रयास किया है तो आपको सफलता भी दिलाएंगे लेकिन इस दौरान आपके पिताजी से आपके संबंध बिगड़ सकते हैं और उनकी सेहत में भी गिरावट आ सकती है। इसका आपको ध्यान रखना होगा।
उपाय: आपको गली के कुत्तों को दूध और बिस्किट खाने को देना चाहिए।
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सिंह राशि के जातकों के लिए इस वर्ष की शुरुआत में राहु आपके नवम भाव में डेरा डाले बैठे रहेंगे और आपके भाग्य स्थान और आपके पिताजी से संबंधों पर अपना प्रभाव दिखाएंगे इसलिए हो सकता है कि आपके पिताजी को तो इस समय में बहुत ज्यादा मान-सम्मान मिले और अपनी बातों से वह अपने काम निकाल पाएं लेकिन आपसे उनके संबंध बिगड़ सकते हैं। उनकी सेहत कुछ कमजोर हो सकती है। आप भाग्य के भरोसे बैठने की बजाय आगे बढ़ने की कोशिश करेंगे तो ही सफल हो पाएंगे। सब कुछ भाग्य पर छोड़ देना आपके लिए नुकसानदायक साबित होगा। इस स्थिति में आपके लंबी दूरी की यात्राओं के प्रबल योग बनेंगे। अप्रैल से अगस्त 2023 के बीच गुरु-चांडाल दोष के प्रभाव से पिताजी को स्वास्थ्य समस्याओं में बढ़ोतरी हो सकती है। आपको भाग्य की कमी महसूस होगी जिससे कुछ बनते हुए काम बिगड़ सकते हैं। इसीलिए आपको इस दौरान थोड़ा सा धैर्य रखना होगा। 30 अक्टूबर को राहु आपके अष्टम भाव में आएंगे। यह समय आपकी सेहत और आपके कार्यों में परेशानी दे सकता है। अपनी सेहत का पूरा ध्यान रखें। किसी से मांग कर वाहन ना चलाएं। वाहन चलाते समय सावधानी बरतें और धन का निवेश करने से पहले सौ बार सोच लें क्योंकि इस दौरान आपको धन हानि होने या धन के डूबने की संभावना भी अधिक रहेगी। इस दौरान किसी के बहकावे में आकर किसी को अपना धन उधार ना दें, नहीं तो वह लौटकर आने की संभावना नहीं होगी।
उपाय: यदि जीवन में अधिक समस्याएं चल रही हैं तो रविवार के दिन रुद्राभिषेक संपन्न कराएं।
कन्या राशि के जातकों के लिए राहु इस वर्ष की शुरुआत में आपके अष्टम भाव में ही विराजमान रहेंगे। लंबे समय से राहु का अष्टम भाव में होना आपके जीवन में अचानक से बड़े बदलाव का कारण बना होगा और अभी भी बन रहा है तथा आगे भी बनता रहेगा। आपको अचानक से कुछ अच्छा लाभ और अचानक से कुछ हानि का समाचार भी सुनने को मिल सकता है। ससुराल पक्ष के लिए यह समय अच्छा रहेगा। वह खूब फले-फूलेंगे और उनसे आपके संबंध मधुर होंगे। ससुराल पक्ष के लोगों से मिलने, उनके साथ बैठने और बातचीत करने का भरपूर मौका आपको प्राप्त होगा। इस दशा में सट्टेबाजी, जुएं और लॉटरी आदि के बारे में आपका मन बहुत ज्यादा लगेगा लेकिन सोच-समझ कर ही कोई निवेश करें अन्यथा लाभ के स्थान पर हानि उठाने के लिए तैयार रहना होगा। अप्रैल से अगस्त के बीच बन रहा राहु-गुरु चांडाल दोष अष्टम भाव में होने से आपकी स्वास्थ्य समस्याओं को बढ़ा सकता है और सेहत कमजोर हो सकती है। इस दौरान ध्यान नहीं देंगे तो कोई बड़ी बीमारी जन्म ले सकती है इसलिए आपको थोड़ा सावधान और सतर्क रहना होगा। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के अनुसार, 30 अक्टूबर को राहु आपके सप्तम भाव में आकर दांपत्य जीवन को प्रभावित करेंगे और जीवन साथी को थोड़ा सा निरंकुश बनाएंगे। साथ ही आप धार्मिक चीजें मानने की बजाय अलग से अपना तर्क रखना शुरु कर देंगे।
उपाय: आपको बुध देव जी के बीज मंत्र का जाप करना चाहिए।
तुला राशि के जातकों के लिए राहु इस वर्ष की शुरुआत में आपके सप्तम भाव में विराजमान होंगे जिससे वैवाहिक जीवन और व्यवसायिक साझेदारी के बारे में भी देखा जाता है। यहां पर राहु दांपत्य जीवन में उतार-चढ़ाव की स्थिति का निर्माण कर रहे हैं। आपके व्यापार में भी आप ज्यादा निरंकुश महसूस कर रहे हैं और आगे भी ऐसा जारी रहेगा। आप कई बार बिना सोचे डिसीजन लेंगे जो आपके बिजनेस में कई बार तो लाभ देंगे लेकिन अचानक से हानि और नुकसान भी दे सकते हैं। आपको अपने व्यावसायिक साझेदार के साथ भी सावधानी से पेश आना होगा क्योंकि इस दौरान उनके मन में अनेक तरह की बातें चलेंगी। हो सकता है कि आप दोनों के बीच कोई मनमुटाव हो जाए, जो आपके व्यापार में समस्या का कारण बन जाए इसलिए उनके साथ अच्छा व्यवहार करना आपको लाभ देगा और व्यापार में उन्नति का कारण बनेगा। अप्रैल के अंत से लेकर अगस्त के अंत तक का समय विशेष रूप से गुरु-चांडाल दोष के प्रभाव का समय रहेगा इसलिए इस दौरान आपको दांपत्य जीवन में बहुत सावधानी रखनी चाहिए। जीवनसाथी से किसी भी बात के लिए वाद-विवाद या बहस से बचना चाहिए। यदि संभव हो तो आपसी बातचीत का रास्ता अपनाएं या किसी अनुभवी, पेशेवर अथवा घर के किसी बड़े की सलाह ले लें या उनकी सहमति से कोई कार्य करें। जीवनसाथी को स्वास्थ्य समस्याएं भी परेशान कर सकती हैं। ध्यान रहे, इस दौरान व्यापार में भी उतार-चढ़ाव आएंगे। आपको धैर्य रखना होगा। 30 अक्टूबर के बाद राहु आपके छठे भाव में गोचर करेंगे। यहां से आपके लिए अच्छी शुरुआत होगी। नौकरी करते हैं तो उसमें अच्छे परिणाम मिलेंगे। आप अपने विरोधियों पर भारी पड़ेंगे। कोर्ट और कचहरी से जुड़े मामलों में आपको सफलता मिलेगी।
उपाय: शुक्रवार के दिन माता के मंदिर में सौंदर्य प्रसाधन (कॉस्मेटिक) अर्पित करें।
वृश्चिक राशि के जातकों के लिए इस वर्ष की शुरुआत में राहु महाराज आपके छठे भाव में विराजमान रहकर आपको सभी विपत्तियों से बचाएंगे। ऐसा नहीं है कि आपके सामने रोग नहीं आएंगे या किसी तरह के ऋण की स्थिति नहीं बनेगी या कोई शत्रु नहीं आएँगे, ये सभी आ सकते हैं लेकिन यही राहु महाराज आपको इन सब से जीत दिलाएंगे और आगे बढ़ाएंगे। आप किसी भी परिस्थिति से घबराएंगे नहीं और जीवन में आगे बढ़ेंगे जिससे आपका व्यक्तित्व विकसित होगा और आप एक आदर्श व्यक्ति के रूप में अपनी पहचान बना पाएंगे। नौकरी में आपकी स्थिति और भी ज्यादा प्रबल हो जाएगी। आपको अपने मामा पक्ष के लोगों से अच्छा आर्थिक लाभ भी हो सकता है। इस दौरान विदेश यात्रा के योग भी बन सकते हैं। अप्रैल के अंत से अगस्त के अंत के बीच का समय स्वास्थ्य के लिए कमजोर रहेगा। इस दौरान किसी तरह की स्वास्थ्य समस्या अचानक से आपके सामने प्रकट होगी और आपको परेशान करके रख देगी इसलिए जरा सी भी समस्या होने पर तुरंत चिकित्सीय परामर्श लेना आवश्यक होगा। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के अनुसार, 30 अक्टूबर को जब राहु का गोचर आपके पंचम भाव में होगा तो आपकी बुद्धि का विकास होगा। आप बड़े निर्णय लेंगे और आपकी बुद्धि पर राहु का पूर्ण प्रभाव होने से आपकी निर्णय क्षमता बेहद तेज रहेगी। आपकी संतान के लिए यह समय ध्यान देने का होगा क्योंकि उनकी संगति बिगड़ सकती है और वह गलत सोहबत में पड़कर कुछ गलत कर सकते हैं इसलिए उनका ध्यान अवश्य रखें। प्रेम संबंधों के लिए यह समय बहुत अच्छा रहेगा। प्रेम संबंधों में रोमांस के पल आएंगे और संबंधों में प्रगाढ़ता आएगी। विद्यार्थियों को कुछ परेशानियों का सामना करना पड़ेगा और उनके जीवन में चुनौतियां प्रस्तुत होंगी लेकिन उनका दिमाग तेज होगा। जो एक बार पढ़ लेंगे, वह अच्छे से याद भी हो जाएगा। इसका फायदा उन्हें अपनी शिक्षा में देखने को मिलेगा।
उपाय: श्री दुर्गा चालीसा का नियमित पाठ करना आपके लिए लाभदायक रहेगा।
धनु राशि के जातकों के लिए इस वर्ष की शुरुआत में राहु महाराज आपके पंचम भाव को प्रभावित करते हुए नजर आएंगे क्योंकि वह पहले से ही पांचवें भाव में विराजमान होंगे। यह आपकी बुद्धि और सोच का भाव है। इस पर राहु का प्रभाव होने से आप ऐसी-ऐसी कल्पनाएं करेंगे, जो कभी कोई सोच भी नहीं सकता। हालांकि उन्हें अमल में लाना थोड़ी टेढ़ी खीर होगा लेकिन आप उन्हें पूरा करने की भी भरसक कोशिश करते नजर आएंगे। संतान को लेकर यह समय बस इतना ध्यान देने का होगा कि उनकी संगति ना बिगड़ने पाए अन्यथा वह हाथ से निकल सकती है। प्रेम संबंधों में यह समय बहुत बढ़िया रहेगा। आपको अपने प्रियतम से अपने दिल की हर बात कहने का मौका मिलेगा। आप मुखर होकर हर बात कहेंगे और किसी भी तरह की कोई हिचक आपके मन में नहीं होगी। आपके प्रियतम का भी आपको पूरा समर्थन मिलेगा और वह भी आपके साथ प्यार की पींगे बढ़ाते हुए नजर आएंगे। यदि आप प्रेम विवाह करना चाहते हैं तो उसके लिए यह समय अच्छा रहेगा। आपसी संबंध मजबूत होंगे और आपका प्रेम संबंध परिपक्व होगा लेकिन विद्यार्थियों को चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। उन्हें अपनी पढ़ाई पर एकाग्रता बनाए रखने के लिए बहुत कठिन प्रयास करने होंगे। अप्रैल के अंत से अगस्त के बीच का समय और ज्यादा समस्याप्रद रहेगा। इस दौरान पेट से संबंधित कोई रोग आपकी परेशानियां बढ़ा सकता है। असंतुलित खानपान की वजह से भी आपके स्वास्थ्य में गिरावट के योग बनेंगे। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के अनुसार, 30 अक्टूबर को राहु गोचर के द्वारा आपके चतुर्थ भाव में जाएंगे। वह समय आपको पारिवारिक जीवन में थोड़ा तनाव दे सकता है। आप परिवार से कुछ समय के लिए दूर चले जाएंगे या काम के सिलसिले में अति व्यस्तता के चलते पारिवारिक जीवन का सुख नहीं उठा पाएंगे। हालांकि आपको अन्य सुखों की प्राप्ति होगी।
उपाय: पक्षियों को खाने के लिए सात प्रकार का अनाज थोड़ा-थोड़ा करके डालें।
मकर राशि के जातकों के लिए राहु इस वर्ष की शुरुआत में आपके चतुर्थ भाव से गोचर करेंगे। यह समय आपके जीवन में उतार-चढ़ाव की स्थिति लेकर आएगा। पारिवारिक संबंध थोड़े कमजोर बनेंगे। आपको पारिवारिक जीवन में सामंजस्य बिठाने के लिए बहुत ज्यादा प्रयास करने होंगे क्योंकि घर का माहौल कुछ अशांत हो सकता है। इस दौरान कुछ अलगाव की स्थिति भी उत्पन्न हो सकती है इसलिए आपको थोड़ा शांति से काम लेना होगा और धैर्य दिखाते हुए बड़ी से बड़ी बात को भी सरलता से समझने और समझाने की कोशिश करनी होगी। आपकी माता जी के स्वास्थ्य में भी उतार-चढ़ाव रहेगा लेकिन इस दौरान आप कोई संपत्ति खरीदने में कामयाब हो सकते हैं। अप्रैल के अंत से अगस्त के बीच पारिवारिक जीवन में बड़ा उलटफेर हो सकता है इसलिए बहुत सावधानी रखें और घर की प्रत्येक गतिविधि का पूरा ध्यान रखें। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के अनुसार, 30 अक्टूबर के बाद राहु आपके तीसरे भाव में प्रवेश कर जाएंगे। यहां का राहु आपको पराक्रम देगा। आप व्यापार में जोखिम लेकर आगे बढ़ना पसंद करेंगे और इससे आपको सफलता मिलेगी। यदि आप कोई खिलाड़ी हैं तो इस दौरान आपकी प्रतिभा में बढ़ोतरी होगी। आपको मान-सम्मान मिलेगा। आपकी आर्थिक स्थिति बढ़िया होगी। राहु का यह तीसरे भाव में गोचर आपको उत्तम सफलता प्रदान करेगा और कार्यक्षेत्र में भी आपकी स्थिति प्रबल बनाएगा।
उपाय: शनिवार के दिन आपको काले तिल का दान किसी मंदिर में करना चाहिए।
कुंभ राशि के जातकों के लिए इस वर्ष की शुरुआत में राहु आपके तीसरे भाव में रहेंगे और लगभग वर्ष के अधिकांश समय तीसरे भाव में रहकर आपको पूरी तरह से साहस, पराक्रम, बल, जोखिम लेने की क्षमता, विरोधियों पर मजबूत पकड़ आदि प्रदान करेंगे। आप जिस काम को करना चाहेंगे, उसमें आपको सफलता मिलेगी। राहु आपका पथ प्रशस्त करेंगे। आपको अपने भाई-बहनों से भी अच्छा सहयोग प्राप्त हो सकता है लेकिन उन्हें स्वयं को समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। ऐसी स्थिति में आप उनकी मदद करने की पूरी कोशिश करें। छोटी दूरी की यात्राओं में अधिकता रहेगी और इसलिए आप काफी व्यस्त रहेंगे और आपके जीवन में भागदौड़ रहेगी। कार्यक्षेत्र में आप अपने सहकर्मियों से अच्छा समर्थन प्राप्त कर पाने में कामयाब रहेंगे। अप्रैल के अंत से अगस्त के अंत तक का समय गुरु-चांडाल दोष के कारण कुछ समस्याएं सामने आएंगी। आपके अपने सहकर्मी आपके विरुद्ध किसी तरह की कोई चाल चल सकते हैं या कोई षड्यंत्र रच सकते हैं, जो कार्यक्षेत्र में आपको परेशानी दे सकता है। यात्राओं में इस दौरान समस्या का सामना करना पड़ेगा और यात्राएं सफलता दायक साबित नहीं होंगी लेकिन राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के अनुसार, 30 अक्टूबर के बाद राहु का गोचर आपके दूसरे भाव में होगा। तब आप अच्छे भोजन का आनंद लेंगे। आर्थिक रूप से आप बहुत ज्यादा सक्रिय हो जाएंगे और धन कमाने की लालसा आपके अंदर एकदम से बढ़ेगी जिससे आर्थिक स्थिति मजबूत होने लगेगी लेकिन पारिवारिक जीवन में कुछ समस्या और संघर्ष हो सकते हैं। उनका सामना करते हुए धैर्य का परिचय देंगे तो धीरे-धीरे सब से बाहर निकल आएंगे।
उपाय: राहु महाराज के शुभ प्रभाव प्राप्त करने के लिए रांगे की एक गोली अपने पास रखें।
मीन राशि के जातकों के लिए राहु इस वर्ष की शुरुआत में आपके द्वितीय भाव में विराजमान होंगे, जहां रहकर वह आपको उत्तम धन की प्राप्ति कराएंगे लेकिन आप जितना धन के निकट पहुंचते जाएंगे और ज्यादा धन आपके पास आता जाएगा, उतना ही आप परिवार से दूर होते चले जाएंगे। आपका परिवार से कटाव होना शुरू हो जाएगा क्योंकि यहां स्थित राहु आपको दोनों में से कोई एक चीज ही दे पाएगा इसलिए आपको बहुत सोच-समझकर ही सामंजस्य बैठाने की कोशिश करनी चाहिए। असंतुलित भोजन या खान-पान के कारण आपकी सेहत में गिरावट भी आ सकती है इसलिए आपको स्वास्थ्य संबंधित समस्याओं के प्रति जागरूक रहना होगा। नजर कमजोर होने से आंखों पर चश्मा लगने की स्थिति भी आ सकती है। अप्रैल से लेकर अगस्त के अंत तक का समय गुरु-राहु चांडाल दोष के कारण परिवार अथवा कुटुंब में वाद-विवाद का जन्म हो सकता है, जो परिवार की शांति को भंग कर सकता है। ऐसी स्थिति से बचने के लिए आपको हर संभव प्रयास करना चाहिए और धैर्य रखते हुए हर काम को आगे बढ़कर करना चाहिए। आपका ओहदा परिवार में बढ़ेगा। राहु गोचर 2023 (Rahu Gochar 2023) के अनुसार, 30 अक्टूबर को राहु आपके दूसरे भाव से निकलकर आपकी ही राशि यानी कि आपके प्रथम भाव में आ जाएंगे। वे आपको भावुकता से बाहर निकालकर व्यावहारिक बनाएंगे। आप अपने निर्णय खुद लेने लगेंगे और आपके अंदर गजब का आत्मविश्वास बढ़ेगा लेकिन ऐसी भी संभावना है कि आप कुछ निरंकुश हो जाएंगे और किसी की परवाह नहीं करेंगे। इस स्थिति से बचकर रहेंगे तो राहु का आने वाला गोचर आपको सब कुछ प्रदान करके जाएगा।
उपाय: संभव हो तो रसोई में भोजन करें अथवा बुधवार की शाम के समय में किसी मंदिर में काले तिल का दान करें।
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